पूरन सरमा का व्यंग्य - आओ शोध करें

SHARE:

व्यंग्य आओ शोध करें पूरन सरमा मुझे एक ऐसे रिसर्च स्कोलर की आवश्यकता है, जो मेरे साहित्य पर कहराई से शोध करके अपने लिए पी. एच. डी. प्राप्त कर...

व्यंग्य
आओ शोध करें
पूरन सरमा


मुझे एक ऐसे रिसर्च स्कोलर की आवश्यकता है, जो मेरे साहित्य पर कहराई से शोध करके अपने लिए पी. एच. डी. प्राप्त करना चाहता हो। विश्वास रखिये मैं शोधकत्र्ता का खून नहीं पिऊँगा, अपितु उसे रोज चाय और बिस्कुट खिलाऊँगा। जहाँ तक गाइड का प्रश्न है वह भी मैं सुलभ करवा दूँगा। गाइड तो बस नाम मात्र का होगा, बाकी सारा शोध मेरी ही देखरेख में होगा। गाइड से घबराने की आावश्यकता नहीं, वह तो मेरा ही दोस्त है, इसलिए उसकी तरफ से कोई अड़चन नहीं होगी, उससे मेरी बात हो गई है, वह तो केवल दिखावे का गाइड होगा, वर्ना शोध पर नजर तो मेरी और शोधकत्र्ता की ही होगी। मैं पुनः खुलासा कर दूँ कि न तो मैं रिसर्च स्कोलर से सब्जी मँगाऊँगा, न ही आटे का पीपा चक्की पर डलवाऊँगा, न ही अपने बच्चों को पढ़वाऊँगा या स्कूल भिजवाऊँगा और न ही बाजार के दूसरे कार्य कराऊँगा। भला स्कोलर्स से भी यह कार्य करवाये जात हैं। दूसरे प्राध्यापक ऐसा करते रहे होंगं, परन्तु मैं विद्वानों का अपमान अपना अपमान समझता हूँ।

मेरा तो बस इतना-सा स्वार्थ है कि मैंने इतना साहित्य लिख मारा है कि मेरी खुद की समझ में नहीं आ रहा है कि आखिर मैंने लिख क्या दिया है ? बस थोड़ा एक समझदार आदमी मिल जावे तो साहित्य का मूल्यांकन हो जावे। इससे भी डरने की आवश्यकता नहीं है कि मेरे ऊपर किये काम पर विश्वविद्यालय पी. एच. डी. देगा या नहीं, अजी देगा क्यों नहीं, यदि शोध होगा तो। वैसे शोध में देखा क्या जाता है। बस केवल तीन-सौ से चार-सौ पृष्ठ अच्छी जिल्द में सफाई के साथ बँधवा दीजिए। बस यही सफलता है। वरना इतने पृष्ठ चाटने की हिम्मत किसकी है। कौन पढ़ता है। एक्जामिनर तीन महीने थीसिस को घर में अपने स्टेडी रूप की टेबिल पर पटके रखता है, जिस दिन विश्वविद्यालय का टेलीग्राम आता है, उस दिन फटाफट रिपोर्ट लिखकर पोस्ट कर देता है। वैसे एक्जामिनर भी मेरे जानकार हैं। उन्हें जब वर्क पूरा हो जायेगा तो पत्र लिखकर या व्यक्तिगत रूप से मिलकर आपके रिसर्च वर्क पर अच्छी रिपोर्ट लिखवा दूँगा।

रिसर्च स्कालर यदि महिला हो तो सोने में सुहागा। सामान्य रूप से देखा गया है ंकि महिलायें शोध डूबकर करती हैं तथा अच्छे परिणाम सामने आते हैं। यदि शोधकत्र्ता महिला हो तो ‘गाइड’ भी निर्देशन सही रूप में रूचि लेकर देता है। क्योंकि महिलाओं में पुरूषों की तुलना में ‘टेलेंट’ का प्रतिशत अधिक होता है और गाइड बस ‘टेलेंट’ का कायल होता है। दो प्रतिभाएँ जब एक साथ हो जाती हैं शोध का मजा ही कुछ और होता है। इसलिए यदि रिसर्च का सही उपयोग तथा आनन्द लेना है तो स्कोलर फीमेल होनी चाहिए।


मेरे थीसिस वर्क में प्रेक्टिकल का चक्कर नहीं है। सारा कार्य थ्यौरी का है। इसलिए घबराने की आवश्यकता नहीं है। यह तो सर्वविदित है कि प्रेक्टिकल में कार्य कितना कठिन होता है, थ्यौरी की तुलना में, इसलिए ‘लैब’ में घण्टों बैठने की भी आवश्यकता नहीं होगी। केवल रोज घण्टे-दो-घण्टे मिल गये तो काम चल जायेगा। साहित्य पर शोध कोई ज्यादा मुश्किल भी नहीं होती। थोड़ा आदमी संवेदनशील तथा रसों का जानने वाला हो तो फिर रिसर्च एक अच्छा-खासा मनोरंजन मात्र है।

वैसे भी रिसर्च में कौनसा ‘आॅरिजिनल वर्क’ होता है। संदर्भ पुस्तकों के अंश होते हैं मुख्य रूप से। इस तरह की तमाम पुस्तकें मैंने जुटाकर रख ली हैं। बस उन्हें पढ़ कर तनिक नोट्स छाँटने हैं तथा फिर सीधे ही टाइप में देनी है। टाइप अच्छा होना चाहिए। जितना अच्छा टाइप होगा-उतनी ही अच्छी रिपोर्ट मिलेगी एक्जामिनर से। शोधकत्र्ता को यह गारंटी देता हूँ कि यदि उसे मेरे साहित्य पर उपाधि मिल गई तो फिर वह अपना जाॅब भी पक्का समझे। मैं अनेक ऐसे प्रोफेसर्स को जानता हूँ, जिन्होंने अपने स्टूडेंट्स और खासकर छात्राओं के लिए खून-पसीना एक करके नौकरी वहीं दिलवा दी है। सम्बन्धों की मधुरता अभी तक बनी हुई है उनके बीच। इस मामले में मैं भी उनसे कम नहीं हूँ। मुझे खुशी होगी कि मेरे काम से उन्हें जाॅब मिला।

विश्वविद्यालय अनुदान आयोग भी इसके लिए स्कोलरशिप देगा। आपका खर्चा निकलता रहेगा। मैं उन ‘गाइडों’ में से नहीं हूँ, जो इस राशि में से भी अपने लिए धरा लूँ। मुझे तो यही क्या कम है कि शोधकत्र्ता मेरे ऊपर रिसर्च करेगा। इसलिए शोध-छात्रवृत्ति उसे पूरी मिलेगी। यू. जी. सी. में भी वैसे तो ऐसे बघेरे बैठे हैं जो हाथ ही नहीं धरने देते। वे भी सब शोध करके गये हैं, इसलिए पहले सारा अन्वेषण करने के बाद ही ‘सेंक्शन’ करते हैं। परन्तु थोड़ा-बहुत एप्रोच लगायेंगे तो काम हो जायेगा। आखिर वे भी तो हमारे बीच से ही हैं। उनके पास करोड़ों रूपये हैं, उन्हें रूपये बाँटने की फिक्र है। इसलिए कई बार तो बिना एप्रोच के ही केवल कागजी घोड़े से ही काम चल जाता है। बस जरा प्रोजेक्ट बढि़या-सा बनवा लेंगे। प्रोजेक्ट ड्राफ्ट करने वाले भी तैयार हैं। उन्हें उनकी फीस चुकाई और सारा प्रोजेक्ट तैयार हो जायेगा। ये तो धंधे की बातें हैं। घोड़ा घास से यारी करे तो खाये क्या ?

मेरे साहित्य की आऊट लाइन ढ़ाई ठप्पे की है, जो तत्त्व दूसरों के साहित्य में मौजूद हैं, वही मेरे में हैं। वही विसंगतियाँ, मानवीय कुण्ठायें व हीनतायें, दिनों दिन फैलती और बढ़ती संवेदनशून्यता, मानवीय हताशा-निराशा, सुख-दुःख और मानव मूल्यों की वैचारिकता है। कोई खास मेहनतवाला कार्य नहीं है। दो साहित्य की थीसिस पढ़ लेने, देख लेने के बाद तो यह कार्य बिल्कुल सहज हो जायेगा।


दो साल तक शोध छात्रवृत्ति लेवो और दो महीने की अवधि में वर्क पूरा कर   लो, बस इतना-सा मसला है मेरे साहित्य में। फकत चार खण्डकाव्य, एक महाकाव्य तथा तीन कविता संग्रह हैं। इनका सार मानवीय धरातल पर युग की कसौटी पर कस दीजिये।    जो तत्त्व निकल कर आवे उसे थीसिस में लिख मारिये। देखता हूँ कौन माई का लाल आपको पी. एच. डी. लेने से रोक सकता है। ऐसी बात नहीं है कि आप ही रिसर्च करने निकले हों। निरे लोग कर चुके हैं रिसर्च और मर भी गये। परन्तु हुआ क्या ? सिर्फ       वे विश्वविद्यालयों में पड़ी दीमकों को समर्पित होती रहीं, धूल जमती रही। देश को क्या  मिला ? सिर्फ शून्य। वही सिलसिला आपको बतौर औपचारिकता के पूरा करना है। किसी प्रकार की कठिनाई नहीं है।

इसलिए हे रिसर्च स्कोलरो ! आओ और मेरे साहित्य पर रिसर्च करो। मैं पूरी सेवा करूँगा। मैं शपथ लेता हूँ यदि मैंने आपसे अपना निजी कार्य करवाया तो। मेरी पत्नी    की जरूर थोड़ी आदत खराब है-उसे कोई दिखा कि वह फट-से उसे चाय बना लाने को अथवा डेयरी से दूध की थैली लाने का कार्य सौंप देती है। इसके लिए हम यह कर सकते हैं कि हम अपना शोध स्थल विश्वविद्यालय लाइब्रेरी को ही बनायें। वैसे भी यदि रिसर्च स्कोलर छात्रा हुई तो वह फूटी आँख भी नहीं चाहेगी। तब भी रिसर्च उसें दूसरे स्थानों  पर ही करनी पड़ेगी। इसलिए शोधकत्र्ताओं ! ऐसा अवसर नहीं मिलेगा, जिसमें आधे से ज्यादा कार्य तो मैं खुद निपटाने को तैयार हूँ। इसलिए आओ रिसर्च करें और कुछ ऐसी सर्च करें, जो हमारे लिए उपयोगी हो। ‘हम दो हमारे दो’ का रास्ता प्रशस्त करता हो। शोध से ही नये रास्ते निकलते हैं तथा विकास के तमाम सूत्र इसी में छिपे हुए हैं।

(पूरन सरमा)
124/61-62, अग्रवाल फार्म,
मानसरोवर, जयपुर-302 020,
मोबाइल-9828024500
 
 
 
 

COMMENTS

BLOGGER
नाम

 आलेख ,1, कविता ,1, कहानी ,1, व्यंग्य ,1,14 सितम्बर,7,14 september,6,15 अगस्त,4,2 अक्टूबर अक्तूबर,1,अंजनी श्रीवास्तव,1,अंजली काजल,1,अंजली देशपांडे,1,अंबिकादत्त व्यास,1,अखिलेश कुमार भारती,1,अखिलेश सोनी,1,अग्रसेन,1,अजय अरूण,1,अजय वर्मा,1,अजित वडनेरकर,1,अजीत प्रियदर्शी,1,अजीत भारती,1,अनंत वडघणे,1,अनन्त आलोक,1,अनमोल विचार,1,अनामिका,3,अनामी शरण बबल,1,अनिमेष कुमार गुप्ता,1,अनिल कुमार पारा,1,अनिल जनविजय,1,अनुज कुमार आचार्य,5,अनुज कुमार आचार्य बैजनाथ,1,अनुज खरे,1,अनुपम मिश्र,1,अनूप शुक्ल,14,अपर्णा शर्मा,6,अभिमन्यु,1,अभिषेक ओझा,1,अभिषेक कुमार अम्बर,1,अभिषेक मिश्र,1,अमरपाल सिंह आयुष्कर,2,अमरलाल हिंगोराणी,1,अमित शर्मा,3,अमित शुक्ल,1,अमिय बिन्दु,1,अमृता प्रीतम,1,अरविन्द कुमार खेड़े,5,अरूण देव,1,अरूण माहेश्वरी,1,अर्चना चतुर्वेदी,1,अर्चना वर्मा,2,अर्जुन सिंह नेगी,1,अविनाश त्रिपाठी,1,अशोक गौतम,3,अशोक जैन पोरवाल,14,अशोक शुक्ल,1,अश्विनी कुमार आलोक,1,आई बी अरोड़ा,1,आकांक्षा यादव,1,आचार्य बलवन्त,1,आचार्य शिवपूजन सहाय,1,आजादी,3,आत्मकथा,1,आदित्य प्रचंडिया,1,आनंद टहलरामाणी,1,आनन्द किरण,3,आर. के. नारायण,1,आरकॉम,1,आरती,1,आरिफा एविस,5,आलेख,4288,आलोक कुमार,3,आलोक कुमार सातपुते,1,आवश्यक सूचना!,1,आशीष कुमार त्रिवेदी,5,आशीष श्रीवास्तव,1,आशुतोष,1,आशुतोष शुक्ल,1,इंदु संचेतना,1,इन्दिरा वासवाणी,1,इन्द्रमणि उपाध्याय,1,इन्द्रेश कुमार,1,इलाहाबाद,2,ई-बुक,374,ईबुक,231,ईश्वरचन्द्र,1,उपन्यास,269,उपासना,1,उपासना बेहार,5,उमाशंकर सिंह परमार,1,उमेश चन्द्र सिरसवारी,2,उमेशचन्द्र सिरसवारी,1,उषा छाबड़ा,1,उषा रानी,1,ऋतुराज सिंह कौल,1,ऋषभचरण जैन,1,एम. एम. चन्द्रा,17,एस. एम. चन्द्रा,2,कथासरित्सागर,1,कर्ण,1,कला जगत,113,कलावंती सिंह,1,कल्पना कुलश्रेष्ठ,11,कवि,2,कविता,3239,कहानी,2360,कहानी संग्रह,247,काजल कुमार,7,कान्हा,1,कामिनी कामायनी,5,कार्टून,7,काशीनाथ सिंह,2,किताबी कोना,7,किरन सिंह,1,किशोरी लाल गोस्वामी,1,कुंवर प्रेमिल,1,कुबेर,7,कुमार करन मस्ताना,1,कुसुमलता सिंह,1,कृश्न चन्दर,6,कृष्ण,3,कृष्ण कुमार यादव,1,कृष्ण खटवाणी,1,कृष्ण जन्माष्टमी,5,के. पी. सक्सेना,1,केदारनाथ सिंह,1,कैलाश मंडलोई,3,कैलाश वानखेड़े,1,कैशलेस,1,कैस जौनपुरी,3,क़ैस जौनपुरी,1,कौशल किशोर श्रीवास्तव,1,खिमन मूलाणी,1,गंगा प्रसाद श्रीवास्तव,1,गंगाप्रसाद शर्मा गुणशेखर,1,ग़ज़लें,550,गजानंद प्रसाद देवांगन,2,गजेन्द्र नामदेव,1,गणि राजेन्द्र विजय,1,गणेश चतुर्थी,1,गणेश सिंह,4,गांधी जयंती,1,गिरधारी राम,4,गीत,3,गीता दुबे,1,गीता सिंह,1,गुंजन शर्मा,1,गुडविन मसीह,2,गुनो सामताणी,1,गुरदयाल सिंह,1,गोरख प्रभाकर काकडे,1,गोवर्धन यादव,1,गोविन्द वल्लभ पंत,1,गोविन्द सेन,5,चंद्रकला त्रिपाठी,1,चंद्रलेखा,1,चतुष्पदी,1,चन्द्रकिशोर जायसवाल,1,चन्द्रकुमार जैन,6,चाँद पत्रिका,1,चिकित्सा शिविर,1,चुटकुला,71,ज़कीया ज़ुबैरी,1,जगदीप सिंह दाँगी,1,जयचन्द प्रजापति कक्कूजी,2,जयश्री जाजू,4,जयश्री राय,1,जया जादवानी,1,जवाहरलाल कौल,1,जसबीर चावला,1,जावेद अनीस,8,जीवंत प्रसारण,141,जीवनी,1,जीशान हैदर जैदी,1,जुगलबंदी,5,जुनैद अंसारी,1,जैक लंडन,1,ज्ञान चतुर्वेदी,2,ज्योति अग्रवाल,1,टेकचंद,1,ठाकुर प्रसाद सिंह,1,तकनीक,32,तक्षक,1,तनूजा चौधरी,1,तरुण भटनागर,1,तरूण कु सोनी तन्वीर,1,ताराशंकर बंद्योपाध्याय,1,तीर्थ चांदवाणी,1,तुलसीराम,1,तेजेन्द्र शर्मा,2,तेवर,1,तेवरी,8,त्रिलोचन,8,दामोदर दत्त दीक्षित,1,दिनेश बैस,6,दिलबाग सिंह विर्क,1,दिलीप भाटिया,1,दिविक रमेश,1,दीपक आचार्य,48,दुर्गाष्टमी,1,देवी नागरानी,20,देवेन्द्र कुमार मिश्रा,2,देवेन्द्र पाठक महरूम,1,दोहे,1,धर्मेन्द्र निर्मल,2,धर्मेन्द्र राजमंगल,1,नइमत गुलची,1,नजीर नज़ीर अकबराबादी,1,नन्दलाल भारती,2,नरेंद्र शुक्ल,2,नरेन्द्र कुमार आर्य,1,नरेन्द्र कोहली,2,नरेन्‍द्रकुमार मेहता,9,नलिनी मिश्र,1,नवदुर्गा,1,नवरात्रि,1,नागार्जुन,1,नाटक,152,नामवर सिंह,1,निबंध,3,नियम,1,निर्मल गुप्ता,2,नीतू सुदीप्ति ‘नित्या’,1,नीरज खरे,1,नीलम महेंद्र,1,नीला प्रसाद,1,पंकज प्रखर,4,पंकज मित्र,2,पंकज शुक्ला,1,पंकज सुबीर,3,परसाई,1,परसाईं,1,परिहास,4,पल्लव,1,पल्लवी त्रिवेदी,2,पवन तिवारी,2,पाक कला,23,पाठकीय,62,पालगुम्मि पद्मराजू,1,पुनर्वसु जोशी,9,पूजा उपाध्याय,2,पोपटी हीरानंदाणी,1,पौराणिक,1,प्रज्ञा,1,प्रताप सहगल,1,प्रतिभा,1,प्रतिभा सक्सेना,1,प्रदीप कुमार,1,प्रदीप कुमार दाश दीपक,1,प्रदीप कुमार साह,11,प्रदोष मिश्र,1,प्रभात दुबे,1,प्रभु चौधरी,2,प्रमिला भारती,1,प्रमोद कुमार तिवारी,1,प्रमोद भार्गव,2,प्रमोद यादव,14,प्रवीण कुमार झा,1,प्रांजल धर,1,प्राची,367,प्रियंवद,2,प्रियदर्शन,1,प्रेम कहानी,1,प्रेम दिवस,2,प्रेम मंगल,1,फिक्र तौंसवी,1,फ्लेनरी ऑक्नर,1,बंग महिला,1,बंसी खूबचंदाणी,1,बकर पुराण,1,बजरंग बिहारी तिवारी,1,बरसाने लाल चतुर्वेदी,1,बलबीर दत्त,1,बलराज सिंह सिद्धू,1,बलूची,1,बसंत त्रिपाठी,2,बातचीत,2,बाल उपन्यास,6,बाल कथा,356,बाल कलम,26,बाल दिवस,4,बालकथा,80,बालकृष्ण भट्ट,1,बालगीत,20,बृज मोहन,2,बृजेन्द्र श्रीवास्तव उत्कर्ष,1,बेढब बनारसी,1,बैचलर्स किचन,1,बॉब डिलेन,1,भरत त्रिवेदी,1,भागवत रावत,1,भारत कालरा,1,भारत भूषण अग्रवाल,1,भारत यायावर,2,भावना राय,1,भावना शुक्ल,5,भीष्म साहनी,1,भूतनाथ,1,भूपेन्द्र कुमार दवे,1,मंजरी शुक्ला,2,मंजीत ठाकुर,1,मंजूर एहतेशाम,1,मंतव्य,1,मथुरा प्रसाद नवीन,1,मदन सोनी,1,मधु त्रिवेदी,2,मधु संधु,1,मधुर नज्मी,1,मधुरा प्रसाद नवीन,1,मधुरिमा प्रसाद,1,मधुरेश,1,मनीष कुमार सिंह,4,मनोज कुमार,6,मनोज कुमार झा,5,मनोज कुमार पांडेय,1,मनोज कुमार श्रीवास्तव,2,मनोज दास,1,ममता सिंह,2,मयंक चतुर्वेदी,1,महापर्व छठ,1,महाभारत,2,महावीर प्रसाद द्विवेदी,1,महाशिवरात्रि,1,महेंद्र भटनागर,3,महेन्द्र देवांगन माटी,1,महेश कटारे,1,महेश कुमार गोंड हीवेट,2,महेश सिंह,2,महेश हीवेट,1,मानसून,1,मार्कण्डेय,1,मिलन चौरसिया मिलन,1,मिलान कुन्देरा,1,मिशेल फूको,8,मिश्रीमल जैन तरंगित,1,मीनू पामर,2,मुकेश वर्मा,1,मुक्तिबोध,1,मुर्दहिया,1,मृदुला गर्ग,1,मेराज फैज़ाबादी,1,मैक्सिम गोर्की,1,मैथिली शरण गुप्त,1,मोतीलाल जोतवाणी,1,मोहन कल्पना,1,मोहन वर्मा,1,यशवंत कोठारी,8,यशोधरा विरोदय,2,यात्रा संस्मरण,31,योग,3,योग दिवस,3,योगासन,2,योगेन्द्र प्रताप मौर्य,1,योगेश अग्रवाल,2,रक्षा बंधन,1,रच,1,रचना समय,72,रजनीश कांत,2,रत्ना राय,1,रमेश उपाध्याय,1,रमेश राज,26,रमेशराज,8,रवि रतलामी,2,रवींद्र नाथ ठाकुर,1,रवीन्द्र अग्निहोत्री,4,रवीन्द्र नाथ त्यागी,1,रवीन्द्र संगीत,1,रवीन्द्र सहाय वर्मा,1,रसोई,1,रांगेय राघव,1,राकेश अचल,3,राकेश दुबे,1,राकेश बिहारी,1,राकेश भ्रमर,5,राकेश मिश्र,2,राजकुमार कुम्भज,1,राजन कुमार,2,राजशेखर चौबे,6,राजीव रंजन उपाध्याय,11,राजेन्द्र कुमार,1,राजेन्द्र विजय,1,राजेश कुमार,1,राजेश गोसाईं,2,राजेश जोशी,1,राधा कृष्ण,1,राधाकृष्ण,1,राधेश्याम द्विवेदी,5,राम कृष्ण खुराना,6,राम शिव मूर्ति यादव,1,रामचंद्र शुक्ल,1,रामचन्द्र शुक्ल,1,रामचरन गुप्त,5,रामवृक्ष सिंह,10,रावण,1,राहुल कुमार,1,राहुल सिंह,1,रिंकी मिश्रा,1,रिचर्ड फाइनमेन,1,रिलायंस इन्फोकाम,1,रीटा शहाणी,1,रेंसमवेयर,1,रेणु कुमारी,1,रेवती रमण शर्मा,1,रोहित रुसिया,1,लक्ष्मी यादव,6,लक्ष्मीकांत मुकुल,2,लक्ष्मीकांत वैष्णव,1,लखमी खिलाणी,1,लघु कथा,288,लघुकथा,1340,लघुकथा लेखन पुरस्कार आयोजन,241,लतीफ घोंघी,1,ललित ग,1,ललित गर्ग,13,ललित निबंध,20,ललित साहू जख्मी,1,ललिता भाटिया,2,लाल पुष्प,1,लावण्या दीपक शाह,1,लीलाधर मंडलोई,1,लू सुन,1,लूट,1,लोक,1,लोककथा,378,लोकतंत्र का दर्द,1,लोकमित्र,1,लोकेन्द्र सिंह,3,विकास कुमार,1,विजय केसरी,1,विजय शिंदे,1,विज्ञान कथा,79,विद्यानंद कुमार,1,विनय भारत,1,विनीत कुमार,2,विनीता शुक्ला,3,विनोद कुमार दवे,4,विनोद तिवारी,1,विनोद मल्ल,1,विभा खरे,1,विमल चन्द्राकर,1,विमल सिंह,1,विरल पटेल,1,विविध,1,विविधा,1,विवेक प्रियदर्शी,1,विवेक रंजन श्रीवास्तव,5,विवेक सक्सेना,1,विवेकानंद,1,विवेकानन्द,1,विश्वंभर नाथ शर्मा कौशिक,2,विश्वनाथ प्रसाद तिवारी,1,विष्णु नागर,1,विष्णु प्रभाकर,1,वीणा भाटिया,15,वीरेन्द्र सरल,10,वेणीशंकर पटेल ब्रज,1,वेलेंटाइन,3,वेलेंटाइन डे,2,वैभव सिंह,1,व्यंग्य,2075,व्यंग्य के बहाने,2,व्यंग्य जुगलबंदी,17,व्यथित हृदय,2,शंकर पाटील,1,शगुन अग्रवाल,1,शबनम शर्मा,7,शब्द संधान,17,शम्भूनाथ,1,शरद कोकास,2,शशांक मिश्र भारती,8,शशिकांत सिंह,12,शहीद भगतसिंह,1,शामिख़ फ़राज़,1,शारदा नरेन्द्र मेहता,1,शालिनी तिवारी,8,शालिनी मुखरैया,6,शिक्षक दिवस,6,शिवकुमार कश्यप,1,शिवप्रसाद कमल,1,शिवरात्रि,1,शिवेन्‍द्र प्रताप त्रिपाठी,1,शीला नरेन्द्र त्रिवेदी,1,शुभम श्री,1,शुभ्रता मिश्रा,1,शेखर मलिक,1,शेषनाथ प्रसाद,1,शैलेन्द्र सरस्वती,3,शैलेश त्रिपाठी,2,शौचालय,1,श्याम गुप्त,3,श्याम सखा श्याम,1,श्याम सुशील,2,श्रीनाथ सिंह,6,श्रीमती तारा सिंह,2,श्रीमद्भगवद्गीता,1,श्रृंगी,1,श्वेता अरोड़ा,1,संजय दुबे,4,संजय सक्सेना,1,संजीव,1,संजीव ठाकुर,2,संद मदर टेरेसा,1,संदीप तोमर,1,संपादकीय,3,संस्मरण,730,संस्मरण लेखन पुरस्कार 2018,128,सच्चिदानंद हीरानंद वात्स्यायन,1,सतीश कुमार त्रिपाठी,2,सपना महेश,1,सपना मांगलिक,1,समीक्षा,847,सरिता पन्थी,1,सविता मिश्रा,1,साइबर अपराध,1,साइबर क्राइम,1,साक्षात्कार,21,सागर यादव जख्मी,1,सार्थक देवांगन,2,सालिम मियाँ,1,साहित्य समाचार,98,साहित्यम्,6,साहित्यिक गतिविधियाँ,216,साहित्यिक बगिया,1,सिंहासन बत्तीसी,1,सिद्धार्थ जगन्नाथ जोशी,1,सी.बी.श्रीवास्तव विदग्ध,1,सीताराम गुप्ता,1,सीताराम साहू,1,सीमा असीम सक्सेना,1,सीमा शाहजी,1,सुगन आहूजा,1,सुचिंता कुमारी,1,सुधा गुप्ता अमृता,1,सुधा गोयल नवीन,1,सुधेंदु पटेल,1,सुनीता काम्बोज,1,सुनील जाधव,1,सुभाष चंदर,1,सुभाष चन्द्र कुशवाहा,1,सुभाष नीरव,1,सुभाष लखोटिया,1,सुमन,1,सुमन गौड़,1,सुरभि बेहेरा,1,सुरेन्द्र चौधरी,1,सुरेन्द्र वर्मा,62,सुरेश चन्द्र,1,सुरेश चन्द्र दास,1,सुविचार,1,सुशांत सुप्रिय,4,सुशील कुमार शर्मा,24,सुशील यादव,6,सुशील शर्मा,16,सुषमा गुप्ता,20,सुषमा श्रीवास्तव,2,सूरज प्रकाश,1,सूर्य बाला,1,सूर्यकांत मिश्रा,14,सूर्यकुमार पांडेय,2,सेल्फी,1,सौमित्र,1,सौरभ मालवीय,4,स्नेहमयी चौधरी,1,स्वच्छ भारत,1,स्वतंत्रता दिवस,3,स्वराज सेनानी,1,हबीब तनवीर,1,हरि भटनागर,6,हरि हिमथाणी,1,हरिकांत जेठवाणी,1,हरिवंश राय बच्चन,1,हरिशंकर गजानंद प्रसाद देवांगन,4,हरिशंकर परसाई,23,हरीश कुमार,1,हरीश गोयल,1,हरीश नवल,1,हरीश भादानी,1,हरीश सम्यक,2,हरे प्रकाश उपाध्याय,1,हाइकु,5,हाइगा,1,हास-परिहास,38,हास्य,59,हास्य-व्यंग्य,78,हिंदी दिवस विशेष,9,हुस्न तबस्सुम 'निहाँ',1,biography,1,dohe,3,hindi divas,6,hindi sahitya,1,indian art,1,kavita,3,review,1,satire,1,shatak,3,tevari,3,undefined,1,
ltr
item
रचनाकार: पूरन सरमा का व्यंग्य - आओ शोध करें
पूरन सरमा का व्यंग्य - आओ शोध करें
https://lh3.googleusercontent.com/-GI7OEDYBOIo/VgIuANcBawI/AAAAAAAAnDM/AilCusZMC9M/s640/blogger-image-1772183534.jpg
https://lh3.googleusercontent.com/-GI7OEDYBOIo/VgIuANcBawI/AAAAAAAAnDM/AilCusZMC9M/s72-c/blogger-image-1772183534.jpg
रचनाकार
https://www.rachanakar.org/2015/09/blog-post_23.html
https://www.rachanakar.org/
https://www.rachanakar.org/
https://www.rachanakar.org/2015/09/blog-post_23.html
true
15182217
UTF-8
Loaded All Posts Not found any posts VIEW ALL Readmore Reply Cancel reply Delete By Home PAGES POSTS View All RECOMMENDED FOR YOU LABEL ARCHIVE SEARCH ALL POSTS Not found any post match with your request Back Home Sunday Monday Tuesday Wednesday Thursday Friday Saturday Sun Mon Tue Wed Thu Fri Sat January February March April May June July August September October November December Jan Feb Mar Apr May Jun Jul Aug Sep Oct Nov Dec just now 1 minute ago $$1$$ minutes ago 1 hour ago $$1$$ hours ago Yesterday $$1$$ days ago $$1$$ weeks ago more than 5 weeks ago Followers Follow THIS PREMIUM CONTENT IS LOCKED STEP 1: Share to a social network STEP 2: Click the link on your social network Copy All Code Select All Code All codes were copied to your clipboard Can not copy the codes / texts, please press [CTRL]+[C] (or CMD+C with Mac) to copy Table of Content